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"कभी-कभी / मुकेश मानस" के अवतरणों में अंतर

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'''कभी-कभी'''
 
'''कभी-कभी'''

11:42, 6 जून 2010 का अवतरण

कभी-कभी

आज फिर
गरज रहे हैं बादल
बरस रहा है पानी
तरस रहा हूं मैं
दो चार बूंदों के लिए

फिर और किसी दिन
गरजेंगे बादल
बरसेगा पानी
और भीग जाउंगा मैं भी
बरसात के पानी में

बरस जाऊंगा मैं भी
एक दिन
1994