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"जीने का मजा उनके लिए है / रामकृष्ण दीक्षित 'विश्व'" के अवतरणों में अंतर

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कलियों की निगाहों का नशा उनके लिए है(४)
 
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मंजिलो को जो पहनाते है कोशिश की चुनरिया
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जो आदमी को धर्मं का पुतला नहीं कहते
 
जो आदमी को धर्मं का पुतला नहीं कहते
यह गाड या ईश्वर या खुदा उनके लिए है(७)
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जो जुल्म के घावो से खड़े जूझ रहे है
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लंका को जलाने की कथा उनके लिए है(८)
 
लंका को जलाने की कथा उनके लिए है(८)
  

20:05, 8 अप्रैल 2013 के समय का अवतरण

जो मर्द है जीने का मजा उनके लिए है
मरने का हक़ भी मैंने सुना उनके लिए है(१)

जलते है जवानी में जो मेहनत की धूप में
यह मस्त चाँदनी की छटा उनके लिए है(२)

पीते है जो शराब ज़माने के दर्द की
सावन की गुनगुनाती घटा उनके लिए है(३)

पतझर में जो गाते है बहारो का तराना
कलियों की निगाहों का नशा उनके लिए है(४)

संघर्ष के घावों से तड़पते जो दिन रात
लहराते आंचलों की हवा उनके लिए है(५)

मंजिलों को जो पहनाते है कोशिश की चुनरिया
किस्मत के सितारों का पता उनके लिए है(६)

जो आदमी को धर्मं का पुतला नहीं कहते
यह गॉड या ईश्वर या खुदा उनके लिए है(७)

जो जुल्म के घावों से खड़े जूझ रहे है
लंका को जलाने की कथा उनके लिए है(८)

होते है जो शहीद अपने वतन के लिए
इतिहास का हर जलता दिया उनके लिए है(९)