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"अनुभव / ज़्यून तकामी" के अवतरणों में अंतर
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01:02, 29 नवम्बर 2007 का अवतरण
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लेट कर जब मैंने
दर्पण में झाँका
सोचा कि देखूंगा
हरापन बाँस का
दर्पण में दिखाई दिया मुझे
नीला प्रतिबिम्ब आकाश का ।
ऎसा लगा अचानक
जैसे किसी ने
आँखों पर मेरी किया हो वार
बेहोश हो गया मैं
सिर चकराने लगा मेरा
कठोर था, बेहद कठोर
अनुभव का यह प्रहार ।