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दिल में इक दर्द का अहसास जगा देता हैडूबती नज़रों से के अरमान जब कोई दुआ देता हैमचलते हैंहसरतों के भी पल निकलते हैं
दमे-नफ़रत से रहो दूर महब्बत सीखोटूटे दिल भी कहीं बहलते हैंप्यार इंसान को इंसान बना देता हैवो तो बस आंसुओं में ढलते हैं
जामे-मय कुछ तो मज़ा देता ठेस लगती है यारो मुझकोउस घड़ी दिल कोशिद्दते-दर्द को थोड़ा सा घटा देता हैलोग जब रास्ते बदलते हैं
जब कभी हसरते-दीदार सताती है मुझेवही कामयाब दुनिया मेंअपने रुख़ से कोई पर्दे को हटा देता हैवक़्त के साथ जो बदलते हैं
राह पा जा जाता है महबूब के दिल में वो शख्समौसमे-बरशगाल हो जैसेउस की हर बात पे जो फूल चढ़ा देता हैअश्क़ आंखों से यूँ निकलते हैं
जो झुका देता जब ज़मीं पर क़ियाम है अज़ रहे-अक़ीदत सर कोसब काअपनी अज़मत का वो ऐजाज़ दिखा देता हैलोग क्यों कितना फिर उछलते हैं
जामे-वहदत उसे हो जाता जब भी होता है हासिल सामना उनकाजिस्मो-जां एक साथ जलते हैं अज़्म उकता अगर वो ऐ अंजुम रास्ते खुद को जज़्बात से ऊपर जो उठा देता हैब-खुद निकलते हैं।
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