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"पाणी अर पत्थर / संजय आचार्य वरुण" के अवतरणों में अंतर

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कितरौ आछौ हुवतौ।
 
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22:56, 25 फ़रवरी 2015 के समय का अवतरण

जद कदे भी देखूं हूँ
म्हारै गांव री पाळ पर पड़िया
ऊँधा-सीधा
आडा-तिरछा भाठा ने
जिण रौ एक दूजै सूं
कीं रिश्‍तौ
कोई जुड़ाव
जोयां नीं लाधै।

पाणी री एक बूंद पर
दूजी बंद न्हांखी
दोनूं रिळमिळ’र
बणगी पाणी री
एक नवी बूंद।

कदे कदे सोचूं
पाणी रै टोपै ज्यूं
भाठै ने भी आवतौ
रिळमिळ’र एक हुवणौ तो
कितरौ आछौ हुवतौ।