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"क्षणिकाएँ / अमन चाँदपुरी" के अवतरणों में अंतर

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बोरसी
 
  
पुसोॅ मेॅ
 
कोहोॅ के आगू
 
रात भर
 
डरी-डरी जलै छै बोरसी
 
सोची केॅ
 
सब केॅ जाड़ोॅ सेॅ बचौइयै
 
कि खुद केॅ ।
 
 
परिवार
 
 
परिवारोॅ लेली
 
कुछ लोग
 
बेची दै छै
 
आँखोॅ के नींद
 
मनोॅ के चैन।
 
 
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20:15, 22 अक्टूबर 2020 के समय का अवतरण