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"आदमी का देश / संजय चतुर्वेदी" के अवतरणों में अंतर

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एक दिन देवता उतर कर आएंगे
हमारे दबाव में
हमारे साथ रहने
कहा जाएगा
यहाँ देवता और आदमी एक घड़े से पानी पीते हैं
फिर धीरे-धीरे नहीं रह जाएगी यह कोई ख़बर
रह जाएगी उनकी हल्की-सी विशिष्टता
और लोग कहेंगे
यहाँ आदमी और आदमी एक घड़े से पानी पीते हैं
फिर लड़ाई होगी
लम्बी और मुश्किल
ख़त्म हो जाएंगे दोनों तरफ़ के बहुत से आदमी
और रह जाएगा
यहाँ आदमी घड़े से पानी पीते हैं।