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"फिर न कहना / विष्णु नागर" के अवतरणों में अंतर

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12:06, 26 मई 2009 के समय का अवतरण

मुझे पेड़ पर चढ़ाया
और मैं उड़ गया
तो न कहना
यह तो आदमी था
यह उड़ कैसे गया ?

फिर न कहना
हमारा आदमी पेड़ से उड़ गया
हमीं ने चढ़ाया था उसे

मुझे पेड़ पर चढ़ाया
तो मैं उड़ जाऊंगा निश्चित
मेरे आदमी होने पर भरोसा न करते रहना
तब मैं साइबेरिया तक जा सकता हूँ उड़के ।