युद्ध / मोईन बेस्सिसो / उज्ज्वल भट्टाचार्य
अगर मेरी मौत हो जाए, युद्ध में मेरी जगह आ जाना, मेरे साथी !
मेरे हथियार थामकर, डरो मत, अगर उन पर मेरा ख़ून बहता हो,
मेरे होठों को देखो, कराहती हवा में कसकर बन्धे हुए
मेरी आँखों को देखो, सुबह की लाली के बीच बन्द पड़े हुए
मैं मरा नहीं, अपने घावों के साथ पुकारता हूँ तुम्हें ।
अपने हथियार उठाओ, मेरे साथी ! चलो नहर की ओर
बजाओ अपनी डफ़ली, जनता तुम्हारे साथ है
गूँजे तुम्हारी आवाज़ : धरती के ग़ुलामो ! जंग की ख़ातिर उठ खड़े हो जाओ
मुर्दों को होना है ज़िन्दा, मौत का वक़्त अब ख़त्म है
ज्वालामुखी पर धावा बोलो, काँपती है वो हमारी ख़ातिर ।
यह वह दिन है, हमारे लिए ज़िन्दगी का तोहफ़ा
दानवों के खिलाफ़, ज़िन्दगी के दुश्मनों के खिलाफ़ बग़ावत की घड़ी
जंग के मैदान में अगर हम गिर पड़ें, मेरे साथी !
आग़ की लपटों के बीच लहराता रहेगा एक परचम
तुम्हारे साथियों के हाथों में, जंग के साथियों के हाथों में ।
अँग्रेज़ी से अनुवाद : उज्ज्वल भट्टाचार्य