भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

इज़्ज़तपुरम्-75 / डी. एम. मिश्र

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

सौन्दर्य बोध नहीं
युग सेक्स बोध का

विषैले पेन्टों में
रंगी पुती
ऊँचे कास्मेटिक्स से
लदी-फँदी सामग्रियाँ
उत्तेजना भरी

सम्मुख निर्मल
सीधी-साधी बनिताएँ
क्या टिकें?

भूखा तो
उत्प्रेरक सोडा तलाशे
जो उसकी दाल
जल्दी गला दे