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हाइकु 56 / लक्ष्मीनारायण रंगा
Kavita Kosh से
आज मिनख
धन-मेध यज्ञ रो
बिकाऊ घोड़ो
बदळ सकै
हाथ री सै रेखावां
मुट्ठठी तो ताण
बिस्तर बांध
हुयो ‘‘चैक आउट’’
ई होटल रो