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ईश्वर की मृत्यु / ओएनवी कुरुप
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कल सड़क पर दिखाए दिए
भूखे भाई को
एक कौर चावल देने के लिए
मैं अनाज पैदा नहीं कर सका
उसने नग्न शरीर को
ढकने के लिए कपड़ा नहीं दे सका
न रहने के लिए
झोपड़ी बनवा सका
कल आँगन में कोई भीख माँगने आया
तो कोई कपड़ा माँगने
कल मैंने दोनों को भगा दिया
आज उसका अनाथ शव
दूकान के बरामदे में पड़ा है
क्या कल मेरे ईश्वर की मृत्यु हुई
मूल मलयालम से अनुवाद : संतोष अलेक्स