भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
बारिश / ओम पुरोहित ‘कागद’
Kavita Kosh से
आशिष पुरोहित (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 17:02, 15 सितम्बर 2011 का अवतरण (नया पृष्ठ: {{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=ओम पुरोहित ‘कागद’ |संग्रह= }} {{KKCatKavita}} <Poem> मरुधरा प…)
मरुधरा पर
बारिश का बरसना
केवल पानी का गिरना नहीँ
बहुत कुछ बंधा है यहां ।
...
जैसे कि पेड़-पोधोँ की रंगत
मोर का नृत्य
प्रेमी वृंद के
मिलन की चाह
किसान की उम्मीद
सरकारी योजनाएं
बजट की परवाज !
बारिश सोख भी सकती है
कर्ज मेँ आकंठ डूबे नत्थू
अधबूढ़ी कंवारी बिमली के
कई सावन से टपकते आंसू ।
मरुधर जिन्हे
संजोए बैठी है
बारिश की आस मेँ
अंकुरित हो
कुंठित बीज
बचा सकते हैँ
मिटती लाज मरुधर की
बारिश मेँ !