भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
न कहा न सुना / लालित्य ललित
Kavita Kosh से
आशिष पुरोहित (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 11:41, 24 अगस्त 2012 का अवतरण ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=लालित्य ललित |संग्रह=चूल्हा उदास ...' के साथ नया पन्ना बनाया)
तुमने
कुछ कहा नहीं
मैंने
कुछ सुना नहीं
तुमको
मुझसे और
मुझको तुमसे
वही है जो
तुम को
मुझसे है ।