भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

कहमा से आयल पिअरिया, पिअरिया लागल झालर हो / मैथिली लोकगीत

Kavita Kosh से
Mani Gupta (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 22:54, 30 जून 2014 का अवतरण ('{{KKGlobal}} {{KKLokRachna |भाषा=मैथिली |रचनाकार=अज्ञात |संग्रह= संस...' के साथ नया पन्ना बनाया)

(अंतर) ← पुराना अवतरण | वर्तमान अवतरण (अंतर) | नया अवतरण → (अंतर)
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

मैथिली लोकगीत   ♦   रचनाकार: अज्ञात

कहमा से आयल पिअरिया, पिअरिया लागल झालर हो
कमा से आयल सिन्दुरबा, सिन्दुरबा भरल सिन्दूर हो
नैहर से आयल पिअरिया, पिअरिया लागल झालर हो
ललना, सासुर सऽ आयल सिन्दुरबा भरल सिन्दूर हो
कहमा धरबै पिअरिया, पिअरिया लागल झालर हो
कहमा मे धरबै सिन्दुरबा, सिन्दुरबा भरल सिन्दूर हो
झपिया मे रखबै पिअरिया, पिअरिया लागल झालर हो
ललना, कोठी पर धरबै सिन्दूरबा, सिन्दूरबा भरल सिन्दूर हो