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क्या है अपने वक़्त की रफ़्तार पढ़िये / अनिरुद्ध सिन्हा

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क्या है अपने वक़्त की रफ़्तार पढ़िये
खून से तर आज का अख़बार पढ़िये

इश्क़ के जज़्बों को भी इक बार पढ़िये
खोलिए दिल ये खतेबीमार पढ़िये

जाने कितने दाग़ चेहरे पर मिलेंगे
आइने में अपना भी किरदार पढ़िये

इक नए अंदाज़ की तहरीर हैं हम
आप हमको भी कभी सरकार पढ़िये

रात के क़िस्से बहुत ही पढ़ चुके हैं
आइये अब सुबह के आसार पढ़िये