काम वहेॅ करियोॅ / ब्रह्मदेव कुमार
घरेॅ-घरेॅ, गाम्हैं-गाम्हैं, काम आबेॅ चलै
भाय-बहिन सब्भे, मिली-जुली काम करै।
मोर भैया चलोॅ, नरेगा में काम आबेॅ करोॅ
मोर बहिना चलोॅ, नरेगा में काम आबेॅ करोॅ॥
गरीबोॅ लेॅ योजना, सरकारें चलैलकै।
सालोॅ में सौ दिन के काम जे देलकै॥
ग्राम-सेवक केॅ, दरखास दिहोॅ।
निबंधन कराय केॅ, जाॅब-कार्ड लिहोॅ॥
पनरह दिनोॅ में, जाॅब-कार्ड मिलथौं।
फेनु दरखास दिहोॅ, काम तबेॅ मिलथौं॥
पनरह दिनोॅ में, जों काम नै मिलतै।
बैठाय केॅ सरकारें, भŸाा बेरोजगारी देतै॥
डाकघर-बैंको में, खाता खोलाय लिहोॅ।
सप्ताहिक भुगतान होथौं, खाता सेॅ उठैहोॅ॥
मजदूरी दै में जों देरी बेसी होतै।
मजदूरी तेॅ देबै करतै, मुआवजा भी देतै॥
गाम्हैं में सभा करी, फैसला तों लिहोॅ।
गामों रोॅ विकास होतौं, काम वहेॅ करियोॅ॥
जाॅब कार्ड धारी ही, बनैतै जे समिति।
वहीं वहाँ करतै काम, छेकै यहेॅ नीति॥
पोखर डाँड़ बाँध, कुईयाँ खोदैतै।
भूमि रोॅ विकास होतै, गाछोॅ लगैतै।
खुशी-खुशी भाबेॅ तों नेमान मनैहोॅ।
नरेगा के संदेश लैकेॅ, सबकेॅ बतैहोॅ॥
मोर भैया चलोॅ, नरेगा में काम आबेॅ करोॅ।
मोर बहिना चलोॅ, नरेगा में काम आबेॅ करोॅ॥