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आज पुरवा बड़ी सुहानी है / रंजना वर्मा
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आज पुरवा बड़ी सुहानी है।
खूब खुशबू है औ रवानी है॥
चाँदनी रात है बड़ी प्यारी
चाँद के प्यार की निशानी है॥
चूमती प्यार से जिसे तितली
फूल पाने लगा जवानी है॥
लोग सुन कर हँसी उड़ायेंगे
पीर दिल की सदा छुपानी है॥
आग है हिज्र की जली दिल में
अश्क़ की धार से बुझानी है॥
खा चुके हैं क़सम वफाओं की
रस्म हमको ही वह निभानी है॥
हैं जो एहसास दर्दमंदों के
हर कहानी मेरी कहानी है॥