मरा हुआ आदमी / रमेश ऋतंभर
मरा हुआ आदमी
दुनिया का सबसे जिन्दा और ताज़ा सच है
क्या किसी मरे हुए आदमी को
तुमने देखा है दोस्त?
तुमने देखा है?
कि वह कितना बेफिक्र और निश्चिंत-सा
सोया रहता है
जैसे कि वह घोड़े बेचकर सो रहा हो बरसों से
देखी है तुमने
उसके चेहरे की मुर्दनी शांति
कितनी तटस्थ और कायर शांति दिखती है
मरे हुए आदमी के चेहरे पर
आखिर कैसे हो जाती है इतनी जल्दी
उसकी चेतना मुर्दा?
जिन्दा आदमी तो नहीं होता
इतना तटस्थ और शांत कभी?
वह तो
रहता है हमेशा सक्रिय एवं बेचैन
सत्य की तलाश में
रहता है हमेशा जागरूक
गलत चीजों के ख़िलाफ़
सचमुच मरा हुआ आदमी
दुनिया का सबसे जिन्दा और ताज़ा सच है
जिन्दा और ताज़ा सच
जिसे हर कोई पा सकता है
जीते-जी मरकर
लेकिन इतना याद रहे ज़रूर
कि मरे हुआ आदमी का
कोई इतिहास नहीं होता
दुनिया में कहीं भी दोस्त!