भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
पतंगे / मेरी ओलिवर / नीता पोरवाल
Kavita Kosh से
सशुल्क योगदानकर्ता ५ (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 22:39, 16 सितम्बर 2020 का अवतरण ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=मेरी ओलिवर |अनुवादक=नीता पोरवाल |...' के साथ नया पृष्ठ बनाया)
एक प्रकार का सफेद पतंगा है, मुझे नहीं पता
किस प्रकार का,
मई के मध्य तक जंगल में झिलमिलाता उड़ता है,
जैसे गुलाबी मोकासिन फूल उठ रहे हों
अगर आप किसी चीज पर ध्यान देते हैं
तो यह बात आपको और ज़्यादा खींच ले जाती है
और वैसे भी
मैं इतनी ऊर्जा से भरी थी कि
मैं हमेशा इसे उसे देखती हुई
और इधर उधर देखती रहती थी
अगर मैं रुकती
तो दर्द असहनीय होता
अगर मैं रूकती और सोचती
कि शायद दुनिया को बचाया नहीं जा सकता
तो दर्द असह्य होता