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अनबोला / पीयूष दईया
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क्या यह स्वयं पेड़ है जो बुलाता है
चिडिया को
या वह आ जाती है अपने से
उसके क़ैदी होने का फ़ायदा उठाती
घोंसले बनाती चली जाती है
वह भी तिनकों से/के!
अनबोला पेड़ कभी प्रतिरोध नहीं करता