भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
होना चाहिए एक पत्ती / विष्णु नागर
Kavita Kosh से
अनिल जनविजय (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 11:53, 26 मई 2009 का अवतरण (नया पृष्ठ: {{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=विष्णु नागर |संग्रह=संसार बदल जाएगा / विष्णु नाग...)
मुझे पेड़ में
होना चाहिए एक पत्ती
मुझे हवा में गिर सकना चाहिए