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मौलिकता / लीलाधर जगूड़ी
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जड़ें । वही हों
उसी तने पर । वे ही टहनियाँ हों
ज़्यादा अच्छे लगते हैं
तब नए पत्ते
वरना नए पौधे में तो वे होते ही हैं ।