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नया वर्ष / शास्त्री नित्यगोपाल कटारे

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नया वर्ष कुछ ऐंसा हो पिछले बरस न जैसा हो
घी में उँगली मुँह में शक्कर पास पर्श में पैसा हो ।
भूल जायें सब कड़बी बातें पायें नयी नयी सौगातें
नहीं काटना पड़ें वर्ष में बिन बिजली गर्मी की रातें।
कोई घपला और घुटाला काण्ड न ऐंसा वैसा हो ।।
नया वर्ष कुछ ऐंसा हो ॑॑॑॑॑॑॑
बच्चे खुश हों खेलें खायें रोज सभी विद्यालय जायें
पढ़ें लिखें शुभ आदत सीखें करें शरारत मौज मनायें
नहीं किसी के भी गड्ढ़े में गिरने का अंदेशा हो ।।
नया वर्ष कुछ ऐंसा हो ॑॑॑॑
युवा न भटकें गलियां गलियां मिल जायें सबको नौकरियां
राहू केतु शुभ हो जायें मिल जायें सबकी कुण्डलियाँ
लड़की ऐश्वर्या सी लड़का अभिषेक बच्चन जैसा हो।।
नया वर्ष कुछ ऐंसा हो ॑॑॑॑
स्वस्थ रहें सब वृद्ध सयाने बच्चे उनका कहना मानें
सेवा में तत्पर हो जायें आफिस कोर्ट कचहरी थाने
डेंगू और चिकनगुनियां का अब प्रतिबन्ध हमेशा हो ़़
नया वर्ष कुछ ऐंसा हो ॑॑॑॑
नये वर्ष में नूतन नारे बना सकें नेता बेचारे
गाली बकलें कोई किसी को पर जूते चप्पल न मारे
नहीं विश्व में अन्त किसी का बेनजीर के जैसा हो ।.
नया वर्ष कुछ ऐंसा हो ॑॑॑॑