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औरतें: एक / तुलसी रमण
Kavita Kosh से
खेत में बजता
आषाढ़ का ढोल
कुदालियाँ लेकर
जुट जातीं औरतें
औरतें कुदालियाँ हैं
पृथ्वी से खेलती हुईं
औरतें
जुलाई 1998