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बच्चा - 3 / उदय भान मिश्र
Kavita Kosh से
बच्चा चला गया
घर सूना हो गया!
चाय ठंडी हो रही है
होने दो!
मैं उठा
कल की लिखी चिट्ठियां
फाड़ता हुआ
पार्क में जाकर
टहलने लगा