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बाबा के दुलारल बेटी / भोजपुरी

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बाबा के दुलारल बेटी, माँगेली बाँस के चँगेलिया,
कि फूल तोड़े जाइब रे की।।१।।
फूलवा लोढ़त-लोढ़त बेटी सींकी गइली,
कि सूतेली आँचर पसार, ओही बगिया भीतर रे की।।२।।
घोड़वा चढ़ल अइले राजा के कुँअरवा हे,
ऊपरे त डमरु बजावे, त जागु-जागु मालिन बिटिया हे।।३।।
जाहूँ त होले तूहूँ पढ़ल पंडितवा हे,
मोरा आगे पोथिया रे बिचारु त एही बगिया भीतरे हे।।४।।
कि पढत्रल-गुनल मोरो भोर पड़ि गइले,
कि पोथी मोरा छूटेला बनारस, ओही बगिया भीतरे रे की।।५।।