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बुलबुल / चन्द्रप्रकाश जगप्रिय

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बुलबुल रानी गेलै जा
फोॅल-फलारी खैलोॅ जा।

सिर पर तोरोॅ मोर गजब
पूरब में ज्यों भोर गजबं

कोयल रं तोंय कारी छोॅ
होने सब लेॅ प्यारी छोॅ।

दिखौ घोॅर, आ खेतोॅ में
कहीं दिखौ नै रेतोॅ में।

झाड़ी तोरोॅ राजभवन
हमरोॅ घोॅर करै गनगन।