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खरगोश बाघों को बेचता था
फिर
अपना पेट भरता था
बिके बाघ
ख़रीदारों को खा गये
फिर बिकने बाज़ार
में आ गये
</poem>
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खरगोश बाघों को बेचता था
फिर
अपना पेट भरता था
बिके बाघ
ख़रीदारों को खा गये
फिर बिकने बाज़ार
में आ गये
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