भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

Changes

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

राखौ कृपानिधान / मीराबाई

127 bytes removed, 13:55, 24 जून 2009
[[Category:मीराबाई]][[Category:कविताएँ]][[Category:पद]]{{KKGlobal}}{{KKSandarbhKKRachna|लेखकरचनाकार=मीराबाई|पुस्तक=|प्रकाशक=|वर्ष=|पृष्ठ=
}}
[[Category:पद]]
अब मैं सरण तिहारी जी, मोहि राखौ कृपा निधान।<br>
अजामील अपराधी तारे, तारे नीच सदान।<br>