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Kavita Kosh से
|रचनाकार=लुई आरागों
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मैं बड़े राज की बात तुम्हें बताता हूँ समय तुम हो
इसीलिए मैं स्वयं को देता हूँ जीवन जीने का दुख
मेरी प्रियतम
एल्सा (1959) से
'''मूल फ़्रांसिसी से अनुवाद : हेमन्त जोशी
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