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से वर से तऽ सतबरता छलै / मैथिली लोकगीत
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मैथिली लोकगीत ♦ रचनाकार: अज्ञात
से वर से तऽ सतबरता छलै
हजमा बाखरि तँ नगरिया के
आ वर तऽ सतबरता छलै हजमा
वासरि तऽ नगरिया के ने हय।