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"नहीं होता कि बढ़कर हाथ रख दें / आसी ग़ाज़ीपुरी" के अवतरणों में अंतर
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अगर क़ाबू न था दिल पर, बुरा था। | अगर क़ाबू न था दिल पर, बुरा था। | ||
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वहाँ जाना सरे-महफ़िल हमारा॥ | वहाँ जाना सरे-महफ़िल हमारा॥ | ||
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17:53, 19 जुलाई 2009 का अवतरण
नहीं होता कि बढ़कर हाथ रख दें।
तड़पता देखते हैं, दिल हमारा॥
अगर क़ाबू न था दिल पर, बुरा था।
वहाँ जाना सरे-महफ़िल हमारा॥
यह हालत है तो शायद रहम आ जाय।
कोई उसको दिखा दे दिल हमारा॥