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करड़ो काळजो / मदन गोपाल लढ़ा
Kavita Kosh से
लोग कोनी
फगत 'लेबर' है बै
इण उजाड़ मरुथळ
तोपां रै गोळां बिचाळै
सोधता फिरै
बंबां रा खोळ।
ठाह नीं
कद कोई
जीवतो बंब
धुंवो कर जावै
बां री जिनगाणी।
पेट रै बंदोबस्त सारू
कींकर करता हुवैला बै
काळजो-
इत्तो करड़ो?