क्योंकि हम एक कवि हैं / महाभूत चन्दन राय
क्योंकि हम एक कवि हैं
हम वो छुरियाँ नहीं चलाते
जो आदमी की पीठ पर घोंपी जाती हैं
हम वो गोलियाँ नहीं दागते जो
जो किसी निर्दोष का कसूर तक नहीं पूछती
हमारे पास वो ख़ूनी पेशेवर तमंचे भी नहीं हैं
जो कसाइयों की तरह करते हैं हत्या
हम ठगी के व्यापारी नहीं हैं
न ही बेचते हैं धोखे की ग्राहकता
हम बे-दाम उम्मीद बाँटते हैं
उस वक़्त जब आदमी बे-दम बे-उम्मीद हुआ जाता है
हम लोगों के आशियाने नहीं फूँकते
बेशक हम उनके सीने में आग झौंकते हैं
हमारे पास एक क़लम है
कविता है
और शब्द
उसे ही प्रयुक्त करते हैं हथियार की तरह
हाँ, हम हथियार रखते हैं और
गर कविता को हथियार की तरह इस्तेमाल करना अपराध हैं
तो हाँ हम तुम्हारे अभियुक्त हैं !
तुम मृत्यु का भय किसी और को दिखाना....
तुमसे उस दूसरी दुनिया में भी ऐसे ही मुलाक़ात होगी
क्योंकि हम एक कवि हैं....
हम जोगी अपनी मौत से नहीं डरते...!!!