भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

झील / प्रेमशंकर शुक्ल

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

झील
एक आकाँक्षा है
जिसमें पानी का भाव
लहराता रहता है

समय की घाटी में
बड़ी झील
राजा भोज की जयगाथा है


बहुत तरफ़ से बहते पानी को
मुकाम देती हुई बड़ी झील
अपने एक नाम में
भोजताल है

इस तरह --
भोपाल के नामकरण में
बड़ी झील का ही पानी लगा हुआ है