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मूल्यवान शब्द / अलिक्सान्दर याशिन / रामनाथ व्यास ’परिकर’

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हमारे विपुल वैभव को करते हैं व्यक्त
शब्द अत्यन्त मूल्यवान और सशक्त :

मातृभू,
निष्ठा,
भ्रातृत्व।

हैं और भी :
अन्तर के स्वर
प्रतिष्ठा, आदर

अरे, यदि आप समझे यह सभी,
कि ये तो नहीं हैं केवल शब्द ही,
कैसी-कैसी यातनाओं से हम बचें, यह सही!
और ये तो नहीं हैं कोरे शब्द ही!
 
मूल रूसी से अनुवाद : रामनाथ व्यास ’परिकर’

और अब यही कविता मूल रूसी भाषा में पढ़िए
Александр Яшин

Не только слова

В несметном нашем богатстве
Слова драгоценные есть:
Отечество,
Верность,
Братство.
А есть еще:
Совесть,
Честь...
Ах, если бы все понимали,
Что это не просто слова,
Каких бы мы бед избежали.
И это не просто слова!