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षट् चक्र कमल / अंकावली / सुरेन्द्र झा ‘सुमन’

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मुकुलित मूलाधार, स्फुरित नाभिपद पù बसि
हृदय कमल आगार, कबु कंठ पंकज सरसि
भू्र दल बिच संचार, क्रमहि सहस दल गति शिरसि
पिबिअ अमृत आसार, बिन्दु - बिन्दु रहले बरसि
सरस दल क रस - चक्र पान करक अधिकार तनि
षट्चक्र क कय भेद ज्योति तन्तु उत्थान जनि
षट् कोणाश्रित षट् कमल षडैश्वर्यमयि षष्ठिके!
निज पद कमलक षट्पदे बनबिअ षण्मुख मातृके!!