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हरेपन का इतिहास / साँवर दइया
Kavita Kosh से
सूखा भीतर तक
तभी तो पीला हुआ
पीला दिखता है
लेकिन पीला था नहीं
और आज भी
पीलेपन में इसके
हरेपन का इतिहास है!