भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

हवाई अड्डा / गुल मकई / हेमन्त देवलेकर

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

नोक भर ज़मीन के लिए
शुक्रगुज़ार
आसमान के बाशिंदे
महाराणा प्रताप के
भाले की नोक
चिड़ियों का हवाई अड्डा है