एक दिन उसने बताया
उसे किसी से कुछ हो गया
समाचार मिले
तब तक न जाने क्या-क्या हो गया
कहना चाहता था
कंधा उचकाकर-कोई नहीं
कह नहीं पाया
दकियानूसी जो नहीं था
कि भूचाल आ जाता
धरती फटी
न भूचाल आया
चाहथा था मैं भी बताऊं
कुछ होने की बात
कुछ भी ऐसा-वैसा याद नहीं आया।