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चाँद सलोना / प्रकाश मनु

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चाँद सलोना, चाँद सलोना,
नटखट-सा नन्हा मृगछौना।
दौड़ रहा मन की मस्ती में,
अंबर की उजली बस्ती में।
कभी बादलों में छिप जाता,
कभी उछलकर बाहर आता।
एक रात में ही यह चलकर-