भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
दीदी से में पढ़वा दूंगा / दिविक रमेश
Kavita Kosh से
मैं छोटा हूं इसीलिए तो
तंग मुझे तुम करते हो ना?
लेकिन जिसमें ताकत ज्यादा
उससे तो तुम डरते हो ना?
अब करोगे तंग तो सच में
जा कर दीदी से कह दूंगा
बड़ी स्ट्रांग है मेरी दीदी
उससे पिट्टी करवा दूंगा।
अगर बने तुम अच्छे बच्चे
तो दीदी से मिलवा दूंगा।
रोज़ स्कूल जाती है दीदी
दीदी से में पढ़वा दूंगा।