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न्यूटन का तीसरा नियम / अनामिका अनु
Kavita Kosh से
तुम मेरे लिए
शरीर मात्र थे
क्योंकि मुझे भी तुमने यही महसूस कराया।
मैं तुम्हारे लिए
आसक्ति थी,
तो तुम मेरे लिए
प्रार्थना कैसे हो सकते हो ?
मैं तुम्हें
आत्मा नहीं मानती,
क्योकिं तुमने मुझे अंत:करण नहीं माना ।
तुम आस्तिक
धरम-करम मानने वाले,
मैं नास्तिक !
न भौतिकवादी, न भौतिकीविद
पर फिर भी मानती हूँ
न्यूटन का तीसरा नियम —
क्रिया के बराबर प्रतिक्रिया होती है,
और हम विपरीत दिशा में चलने लगे…।