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पहली फ़िल्म की रोशनी / आलोक धन्वा

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जिस रात बांध टूटा
और शहर में पानी घुसा

तुमने ख़बर तक नहीं ली

जैसे तुम इतनी बड़ी हुई बग़ैर इस शहर के
जहाँ तुम्हारी पहली रेल थी
पहली फिल्म की रोशनी