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भव्य जड़ता / ब्रज श्रीवास्तव
Kavita Kosh से
लोग कहते हैं
तुम्हारे व्यक्तित्व को पहाड़
कुछ लोग
मंच से कहते हैं कि
तुम्हारा ह्रदय समुंदर जैसा है
इधर मैं पहाड़ों की
भव्य जड़ता देखकर
घबरा रहा हूँ
और समुद्र का
विस्तार डरा रहा है मुझे.
लोग सही करते हैं
तुम्हारी तुलना
इस अभिशप्त विराट से