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मृतकों के नाम / जेम्स फ़ेंटन
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लेकिन जब इतने सारे लोग
दुनिया को अलविदा कह रहे हैं
और बेतहाशा रफ़्तार के साथ
मरे जा रहे हैं
ऐसे वक़्त में कोई भी शहर
पीड़ित लोगों के लिए मुंतज़िर नहीं है
उन्होंने बंद किबाड़ों से
मृतकों के नामों की तख़्तियां निकालकर
उनके कफ़न पर रख दी हैं
और अब यहां के तमाम पार्क
खाली जगहें
क़ब्र से भर गए हैं
जिनमें सारे युवा पाढ़ी से हैं
ताज़ा-तरीन माटी की ख़ुशबू में हैं ये क़ब्र
उनको रखा गया है
नामुमकिन सी लगने वाली
दिशाओं में जहां कहीं भी तितर-बितर
नए बनाए हुए क्रास के
सुमंगल चिन्ह के साथ।