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यहाँ शास्त्र की भी इजाज़त यही है / बाबा बैद्यनाथ झा
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यहाँ शास्त्र की भी इजाज़त यही है
करो मातृसेवा इबादत यही है
समझते हैं माँ को अगर आप बोझा
नहीं आप मानव शिकायत यही है
रहे माँ खुशी से सदा मुस्कुराती
यही श्रेष्ठता है हिप़फ़ाज़त यही है
नमन भोर का हो उसी के चरण का
प्रथम दृष्टि में तो शराप़फ़त यही है
स्वयं कष्ट सह ले मगर माँ सुखी हों
समझता इसे जो विरासत यही है
सदा स्वस्थ रहकर करूँ मातृसेवा
खुदा की समझ लो इनायत यही है