राधा बिना कान्हा हइ आधा, सखी रे!
राधा बिना कान्हा हइ आधा।
वइसे तो किसना के सारा जग प्यारा;
राधा मगर सब्भेला जादा, सखी रे!
राधा बिना कान्हा हइ आधा।
राधा के नेह बनल संबल किसन के;
चीर देलक कंसा के लादा, सखी रे!
राधा बिना कान्हा हइ आधा, सखी रे!
राधा बिना कान्हा हइ आधा।
वइसे तो किसना के सारा जग प्यारा;
राधा मगर सब्भेला जादा, सखी रे!
राधा बिना कान्हा हइ आधा।
राधा के नेह बनल संबल किसन के;
चीर देलक कंसा के लादा, सखी रे!