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रूठे सागर को मनाने का हुनर आता है / भावना

रूठे सागर को मनाने का हुनर आता है
चांद काे ख्वाब दिखाने का हुनर आता है

दर्द काे फूल-सलीके से बना देते हैं
जिनको हर जख्म भुलाने का हुनर आता है

पल में सो जाता है आंचल में बिलखता बच्चा
मां को क्या खूब सुलाने का हुनर आता है

वो लगा देते हैं चेहरे पे उजाले अक्सर
जिनको आईना बनाने का हुनर आता है

तिल को इक पल में ही जो ताड़ बना देते हैं
उनको अखबार चलाने का हुनर आता है